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train

Everyone was listening to the sound of the train at the railway station, and the track was calling me.

मोशमी

मैं कबूतर तो वो खिड़की है मोशमी चाहता हूँ मैं वो लड़की है मोशमी इस ज़माने से क्यों डरती है मोशमी अब ग़लत से निडर लड़ती है मोशमी हीरे जैसी वो अब चमकी है मोशमी ज़ुल्म अब तो नहीं सहती है मोशमी मैं क़दम जैसे तो धरती है मोशमी जैसे बारिश यहाँ पहली है मोशमी नूर तारों में भी भरती है मोशमी देखने में परी दिखती है मोशमी यार क्या अब कहूँ कैसी है मोशमी सोचा था जैसी बस वैसी है मोशमी साथ सौरभ के बस जँचती है मोशमी पर लगन में किसी बहकी है मोशमी इन दिनों जाल में उसकी है मोशमी लौट आ दिल की गर सुनती है मोशमी मत समझ इश्क़ जिस्मानी है मोशमी प्यार से बढ़ के तू पत्नी है मोशमी देर की तू ने अब गर्दी है मोशमी देख आयी मेरी अर्थी है मोशमी